वेस्ट से बनाया अनूठा वंडर पार्क, जानिए इसकी खासियत

नमिता बिष्ट

अक्सर हम घर में बेकार पड़ी चीजों को कबाड समझकर फेंक देते है। लेकिन इस कबाड़ से किसी जगह को कैसे संवारा जा सकता है, इसका एक उदहारण हल्द्वानी में देखने को मिल रहा है। जहां घर में बेकार पड़ा हुआ कबाड़ जैसे पुराने टायर, टिन, प्लास्टिक वेस्ट को रिसाइकिल कर एक खूबसूरत पार्क तैयार किया जा रहा है। यहीं नहीं इस पार्क को कुमाऊंनी संस्कृति का प्रतीक ऐपण से भी सजाया जा रहा है।

 

कबाड़ से वेस्ट टू वंडर पार्क

हल्द्वानी में नैनीताल रोड पर नगर निगम का एक अनूठा पार्क बनाया जा रहा है। इसे वेस्ट टू वंडर पार्क का नाम दिया गया है। खास बात यह है कि इस पार्क को संवारने के लिए सिर्फ और सिर्फ वेस्ट का ही इस्तेमाल किया जा रहा है। सामाजिक कार्यकर्ता मनोज नेगी समेत अन्य लोग इसे संवारने में जुटे हैं।

 

ऐपण कला से सजाया जा रहा पार्क

आपको बता दें कि इस पार्क में बेकार पड़ी हुई प्लास्टिक की बोतलों से छोटी-छोटी बाउंड्री वॉल तैयार की जा रही है। कुमाऊंनी संस्कृति का प्रतीक ऐपण कला से पार्क की दीवारों को सजाया जा रहा है। बेकार पड़ी टिन से तितलियां बनाई जा रही है। जबकि पुराने टायरों का प्रयोग प्लांटेशन के लिए किया जा रहा है।  कुल मिलाकर जितना भी वेस्ट मटेरियल यानी कबाड़ है उससे पाक की सुंदरता को बढ़ाने का काम किया जा रहा है। पार्क में टूटी हुई टाइल्स और प्लास्टिक के डिब्बों का भी इस्तेमाल किया गया है।

 

आम जनता को दिया जा रहा संदेश

वहीं पार्क की दीवारों पर कुछ स्लोगन भी लिखे गए हैं। प्लास्टिक का यूज ना करे, आम जनता को यह संदेश दिया जा रहा है कि कबाड़ पड़ी हुई चीजों को फेंकना नहीं है, बल्कि उनका किस तरह और कहां इस्तेमाल करना है। इस पार्क को देखने के लिए लोग दूर दूर से यहां पहुंच रहे है। यहां आने वाला हर व्यक्ति यहां की ख़ूबसूरती को अपने मोबाइल कैमरे में कैद करना पसंद कर रहा है।

 

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