Purola Violence : उत्तराखंड के पुरोला मामले ने पकड़ा तूल, कानून व्‍यवस्‍था पर सीएम के निर्देश जारी

Purola Violence : उत्तराखंड की शांत वादियों में पिछले कुछ दिनों से हालात थोड़े बिगड़े हुए हैं, अब पुरोला में सांप्रदायिक तनाव को लेकर सोशल मीडिया पर भी हंगामा हो रहा है। तो पुरोला के विधायक दुर्गेश लाल शाह का कहना है कि हालत उतने खराब नही हैं जितना सोशल मीडिया में हालत दिखाए जा रहे हैं।

दरअसल बीती 26 मई को पुरोला में अल्‍पसंख्‍क समुदाय के दो लोगों ने एक नाबालिग हिन्‍दू लड़की को भगा ले जाने की कोशिश की थी, नाबालिग लड़की को भगाने के आरोप में बिजनौर निवासी और दूसरे समुदाय के दो युवकों को पुलिस ने गिरफ्तार किया था। इसके बाद पुरोला और जिले के अन्‍य शहरों में सांप्रदायिक तनाव बना है। जानकारी के अनुसार इसके बाद कुछ दिनों में कुछ व्यापारियों ने दुकानें खाली कर दी हैं और लगभग 12 व्यापारियों ने पुरोला पूरी तरह से छोड़ दिया है। अब इस पूरे मामले ने लव जिहाद का रूप लिया है और पुरोला समेत जिले के छोटे बड़े कस्बों में विरोध-प्रदर्शन भी दिखाई दे रहा है।

Purola Violence : 

आधिकारिक पुष्टि नहीं :Purola Violence : 

ऐसे में यह मामला पूरे राज्य में तूल पकड़ता जा रहा है, मीडिया रिपोर्ट्स की मानें तो आगामी 15 जून को हिन्दू पक्ष और 18 जून को मुस्लिम पक्ष की तरफ से महापंचायत भी होने जा रही है, हालांकि इसकी अभी तक किसी भी तरह की कोई आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है। दूसरी तरफ मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का कहना है कि किसी को भी माहौल बिगाड़ने की इजाजत नहीं दी जाएगी और सभी से कानून व्यवस्था बनाए रखने के लिए कहा है। ऐसे में अगर कोई भी कानून व्यवस्था बिगाड़ने की कोशिश करता है तो उसके खिलाफ सख्‍त कार्रवाई भी की जाएगी।

Purola Violence : इसके साथ ही जिलाधिकारी और पुलिस अधीक्षक ने दोनों समुदायों से महापंचायत स्थगित करने की अपील की है तो सांप्रदायिक तनाव को देखते हुए जिला प्रशासन को अलर्ट मोड पर है और पूरे जिले में सुरक्षा व्‍यवस्‍था बढ़ा दी गई है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *