नमिता बिष्ट
शादी हर किसी के जीवन का खास दिन होता है। खासकर एक दुल्हन के लिए। इसलिए वह चाहती है कि वह सबसे खूबसूरत दिखे। इसके लिए वह अपनी शादी के दिन खूबसूरत लगने के लिए मेकअप का इस्तेमाल करती हैं। लेकिन दुनिया में एक ऐसी जगह भी है, जहां दुल्हन का मेकअप कॉस्मेटिक्स से नहीं बल्कि पेंट से किया जाता है। शायद आपको यह सुनकर अजीब लगे। लेकिन यह सच है। तो चलिए जानते है इस अनोखे रीति रिवाजों के बारे में…
2 हजार साल पुरानी परंपरा
कोसोवो में दुल्हन को मेकअप से नहीं बल्कि पेंट करके सजाया जाता है। दक्षिणी कोसोवो के डोंजे लजुबिंजे इलाके में बोस्नियाई जाति के लोगो में यह परंपरा करीब 2 हजार साल से चली आ रही है। यहां शादी को बिल्कुल एक आर्ट फेस्टिवल की तरह मनाया जाता है. यह सदियों पुरानी परंपरा है, जिसे आज तक निभाया जाता है।
पेंट से किया जाता है दुल्हन का मेकअप
सदियों पुरानी परंपराओं को मानते हुए यहां दो दिन तक शादी के फंक्शन होते हैं। शादी के दिन यहां की महिलाएं ट्रेडिशनल बोस्नियाक ड्रेस पहनती हैं। उनके चेहरे को सफेद रंग से पेंट किया जाता है। जिसमें लाल और नीले रंग से बिंदी बनाई जाती हैं। गोल्ड और सिल्वर कलर से लाइन डिजाइन बनाया जाता है। इतना ही नहीं आईब्रो पर भी कुछ कलाकारी दिखाकर दुल्हन को पेंट से सजा दिया जाता है।
घंटों की मेहनत के बाद सजती है दुल्हन
इस बात से हम सभी वाकिफ हैं कि दुल्हन के चेहरे को सजाना बेहद मुश्किल काम है। जिस तरह ब्राइडल मेकअप करने में समय लगता है, उसी तरह पेंट से चेहरा सजाने में 2-3 घंटे लग जाते हैं। इस दौरान दुल्हन किसी भी तरह का कोई काम नहीं कर सकती है। वह किसी से बात नहीं कर सकती है, न ही कुछ खा-पी सकती है।
हर रंग का अपना अर्थ
इस अनोखे रीतिरिवाज की दिलचस्प बात यह है कि चेहरे को सजाने के लिए जिन रंगों और लाइन्स का इस्तेमाल किया जाता है, वो सभी रंग खुशी, प्यार और सम्मान को दर्शाते हैं। लेकिन समय के साथ-साथ ये प्रथा भी काफी हद तक प्रभावित हो रही है। दरअसल पूरे गांव में एक ही महिला को इस तरह से मेकअप करना आता है। जिनकी उम्र अब 60 हो चुकी है।
जुलाई-अगस्त में शादी का मौसम
इस शहर में जुलाई-अगस्त के दौरान जमकर शादियां होती हैं। हालांकि अब इस गांव में कम ही लोग हैं। लेकिन इस समय ज्यादातर लोग गांव लौटकर शादी करते हैं। इस दौरान यहां एक दिन में कम से कम दो शादी जरूरी होती है। बता दें कि डोन्ये ल्युबिन्ये में लगभग 3 हजार लोग रहते हैं। हालांकि पिछले 20 साल में आबादी आधी हो गई है क्योंकि लोग विदेशों में जा बसे हैं।