Basant Panchami: बसंत पंचमी पर श्रद्धालुओं ने गंगा नदी में लगाई आस्था की डुबकी

Basant Panchami: बसंत पंचमी के मौके पर हजारों श्रद्धालुओं ने हरिद्वार में हर की पौड़ी पर गंगा नदी में डुबकी लगाई और पूजा-अर्चना की, हर की पौड़ी ब्रह्मकुंड पर सुबह से ही श्रद्धालुओं की भारी भीड़ देखी जा रही है। माघ शुक्ल पक्ष की पंचमी को बसंत पंचमी मनाई जाती है, इस मौके पर ज्ञान की देवी मां सरस्वती की पूजा की जाती है। बसंत पंचमी के मौके पर अयोध्या में हजारों लोगों ने सरयू नदी में डुबकी लगाई और पूजा-अर्चना की।

माघ शुक्ल पक्ष की पंचमी को देशभर में पारंपरिक तरीके से बसंत पंचमी मनाई जा रही है, इस मौके पर ज्ञान की देवी सरस्वती की पूजा की जाती है, सरयू घाट पर स्नान करने पहुंचे श्रद्धालुओं ने अच्छी व्यवस्थाओं के लिए जिला प्रशासन की तारीफ की। घाटों पर भारी भीड़ उमड़ने की आशंका को देखते हुए यहां पर सुरक्षा के पर्याप्त इंतजाम किये गये हैं, उत्तर प्रदेश के वाराणसी में बुधवार को श्रद्धालु गंगा में डुबकी लगाकर और घाटों पर पूजा कर बसंत पंचमी मना रहे हैं।

माघ शुक्ल पक्ष की पंचमी को बसंत पंचमी मनाई जाती है, यह सरस्वती पूजा का भी दिन है, लोग ज्ञान की देवी सरस्वती से प्रार्थना करते हैं और उनसे ज्ञान और शांति का आशीर्वाद मांगते हैं। पीला या “बसंती” इस मौके से जुड़ा पारंपरिक रंग है। ऐसे में श्रद्धालुओं का कहना है कि “आज माघ बसंत पंचमी है। मां सरस्वती जी का दिन है उनकी पूजा हवन होती है और मां गंगा जी में स्नान करने से पितृ दोष खत्म हो जाते है। सुख-शांति की पूजा करते हैं जो भी व्यक्ति आते है गंगा जी का नमन करते है और अपनी मुक्ति का रास्ता देते हैं।”

श्रद्धालुओं ने बताया कि “शुभ दिन है और हम लोग यहां स्नान करने के लिए जो है बहुत दूर-दूर से आए हुए हैं और यहां की व्यवस्था जो है देखकर हम लोगों को बहुत अच्छा लग रहा है। सभी चीज का सुविधा है यहां मतलब जो है कोई भी मतलब जो है पुरुष हो या औरत हो, उनका भी व्यवस्था जो है नहान में जो है बहुत अच्छा तरीका से जो है यहां दिया गया है।”

इसके साथ ही पुजारियों का कहना है कि “बड़े- बड़े लोग, बड़े-बड़े श्रद्धालु लोग दूर-दूर से आते हैं, गंगा स्नान करते हैं। गंगा स्नान करके बाबा विश्वनाथ का दर्शन तो कर ही रहे हैं, पर आज क्या है, इस बार आज सरस्वती पूजा है। छोटे से लेकर बुजुर्गों से लेकर, सरस्वती का ज्ञान प्राप्त करने के लिए सरस्वती माता का वंदन करते हैं, हे सरस्वती माता मुझे सदबुद्धि दे, ज्ञान की प्राप्ति कराए और बढ़िया हमको तरक्की दे। उनका कहना है कि आज बसंत पंचमी जो लग गया है, सब स्नान कर रहे हैं सरयू तट पर, आप देख रहे हैं। ये फागुन मास का योग बसंत पंचमी से शुरू हो जाता है। आज होलिका की पूजा लकड़ी धरकर जहां होलिका जलाई जाएगी, वहां सब शुभ मुहुर्त करेंगे होलिका का। होलिका का बसंत चल रहा है। ये बसंत पंचमी का स्नान प्रयागराज का है। प्रयागराज में बहुत भीड़़ चल रही है। वहां जो पब्लिक नहीं जा पाई है, अयोध्या में नहा रही है।”

 

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