Dehradun: उत्तराखंड कांग्रेस विधायक दल के उप-नेता भुवन कापड़ी ने यूसीसी बिल को विधानसभा में पेश करने से पहले इसके ड्राफ्ट को पढ़ने के लिए पर्याप्त समय मांगा है। कापड़ी उत्तराखंड विधानसभा की बिजनेस एडवाइजरी कमेटी की बैठक में शामिल 18 विधायकों में शामिल थे।
उन्होंने कहा कि “यूसीसी महत्वपूर्ण विषय है और यूसीसी को पड़ने का मौका कम से कम एक दिन तो सदस्यों को मिलना चाहिए। आप कह रहे हैं कि आप यूसीसी पर चर्चा उसी दिन शुरू करेंगे जिस दिन इसे पेश किया जाएगा। इतना महत्वपूर्ण आप इसे बता रहे हैं, इतना महत्वपूर्ण आपने इसे मीडियो के माध्यम से बता रखा है। उस महत्वपूर्ण विषय पर चर्चा के लिए पर्याप्त समय मिलना चाहिए और वो सब मानने के लिए तैयार नहीं हैं, नियम विरूद्ध काम कर रहे हैं।”
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी मंगलवार को राज्य विधानसभा में समान नागरिक संहिता (यूसीसी) उत्तराखंड 2024 विधेयक पेश करेंगे। इससे पहले उत्तराखंड कैबिनेट ने समान नागरिक संहिता के अंतिम मसौदे को मंजूरी दे दी है, जिसके बाद इसे मंगलवार को विधानसभा में पेश करने का रास्ता साफ हो गया, विधानसभा का सत्र विशेष रूप से यूसीसी पर कानून पारित करने और इसे एक अधिनियम बनाने के लिए बुलाया गया है।
अगर यूसीसी लागू होता है तो बीजेपी शासित उत्तराखंड आजादी के बाद इसे अपनाने वाला देश का पहला राज्य बन जाएगा। पुर्तगाली शासन के दिनों से ही गोवा में समान नागरिक संहिता लागू है। सुप्रीम कोर्ट की रिटायर्ड जज रंजना प्रकाश देसाई की अध्यक्षता वाली पांच सदस्यीय कमेटी ने हाल ही में मुख्यमंत्री धामी को चार खंडों में 740 पेजा का फाइनल ड्राफ्ट सौंपा था। विपक्षी दल यूसीसी का विरोध कर रहे हैं। सोमवार को उत्तराखंड विधानसभा में विपक्ष के नेता यशपाल आर्य के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल ने राज्यपाल से मुलाकात की और सभी 19 कांग्रेस विधायकों की तरफ से साइन किया हुआ ज्ञापन सौंपा और मामले में उनके हस्तक्षेप की मांग की।
यशपाल आर्य के अलावा ज्ञापन पर प्रीतम सिंह, भुवन कापड़ी, राजेंद्र सिंह भंडारी, हरीश सिंह, ममता राकेश, फुरकान अहमद और तिलक राज बेहार सहित बाकी विधायकों के साइन थे। भुवन कापड़ी का कहना है कि “यूसीसी महत्वपूर्ण विषय है और यूसीसी को पड़ने का मौका कम से कम एक दिन तो सदस्यों को मिलना चाहिए, आप कह रहे हैं कि आप यूसीसी पर चर्चा उसी दिन शुरू करेंगे जिस दिन इसे पेश किया जाएगा। इतना महत्वपूर्ण आप इसे बता रहे हैं, इतना महत्वपूर्ण आपने इसे मीडियो के माध्यम से बता रखा है। उस महत्वपूर्ण विषय पर चर्चा के लिए पर्याप्त समय मिलना चाहिए और वो सब मानने के लिए तैयार नहीं हैं, नियम विरूद्ध काम कर रहे हैं। इसलिए हमारे माननीय विपक्षी नेता प्रीतम सिंह और अन्य ने इस्तीफा भी दे दिया, कल हम राज्यपाल से भी मिलने गए थे कि नियम विरूद्ध काम न हो और यूसीसी पर चर्चा के लिए पर्याप्त समय दिया जाए।”