Varanasi: आईआईटी बीएचयू ने बनाया अनोखा सोलर पावर प्लांट

Varanasi: आईआईटी बीएचयू के मैकेनिकल इंजीनियरिंग विभाग के रिसर्चस ने सोलर एनर्जी प्रोडक्शन में नई तकनीक का इस्तेमाल करके अनोखा पावर प्लांट बनाया है, नई डिजाइन का ये सोलर प्लांट पहले से चले आ रहे प्लांट के मुकाबले कम लागत में ज्यादा बिजली का उत्पादन करेगा।

इस रिसर्च को भारत सरकार ने पेटेंट दे दिया है। प्लांट का अनूठा इनलेट और कलेक्टर डिजाइन इसकी खासियत है, बेल-माउथ शेप का इनलेट और कलेक्टर मिलकर हवा की रफ्तार को कई गुना बढ़ा देता है, जिससे ज्यादा बिजली पैदा होती है। रिसर्च टीम का नेतृत्व कर रहे मैकेनिकल इंजीनियरिंग विभाग के प्रोफेसर ओमप्रकाश सिंह ने कहा कि नया सोलर चिमनी पावर प्लांट सूर्य की गर्मी से ज्यादा बिजली उत्पादन के लिए बेहतर और सस्ता विकल्प है।

उन्होंने कहा, “ये नेचुरली हीट होती है। हमने क्या किया कि इसके बीच में जो लॉसिस होते हैं, हमने उसको काफी कम किया है। जैसे इनलेट की एंट्री, चिमनी की डिजाइन। उससे क्या होता है जो हवा की रफ्तार है उसे हमने तीन गुना बढ़ा दिया है। हवा की रफ्तार टर्बाइन को रोटेट करने में मदद करती है। अगर इस तकनीक का इस्तेमाल गांव में बिजली लगाने के लिए करना है तो ये काफी यूजफुल होगा।” हालांकि इस अनोखे डिजाइन वाले प्लांट में भी सोलर कलेक्टर और चिमनी को रखने की अच्छी-खासी जगह की जरूरत होती है।

आईआईटी बीएचयू मे मैकेनिकल इंजीनियरिंग विभाग के प्रो. ओम प्रकाश सिंह ने बताया कि “हमारे स्टूडेंट का ही ये इमेजिनेशन था कि इसकी एफिशिएंसी बढ़ाई जाए क्योंकि सोलर चिमनी नेचुरल कंवेक्शन है। एयर को हीट करके उसकी रफ्तार को बढ़ाते हैं। अभी क्या है कि इसकी रफ्तार काफी कम होती है। ये नेचुरली हीट होती है। हमने क्या किया कि इसके बीच में जो लॉसिस होते हैं, हमने उसको काफी कम किया है। जैसे इनलेट की एंट्री, चिमनी की डिजाइन। उससे क्या होता है जो हवा की रफ्तार है उसे हमने तीन गुना बढ़ा दिया है। हवा की रफ्तार टर्बाइन को रोटेट करने में मदद करती है। अगर इस तकनीक का इस्तेमाल गांव में बिजली लगाने के लिए करना है तो ये काफी यूजफुल होगा। पूरा का पूरा गांव हम उससे लाइट कर सकते हैं क्योंकि हमारे पास हाई वेलोसिटी की कारण टर्बाइन को रोटेट करने की क्षमता काफी बढ़ गई है।”

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