Varanasi: उत्तर प्रदेश के वाराणसी में पारा लगातार 40 से 45 डिग्री सेल्सियस के आस-पास पहुंचकर लोगों के पसीने छुड़ा रहा है। बेजुबान जानवर भी गर्मी से बेहाल दिख रहे हैं। वाराणसी के सारनाथ हिरण उद्यान में जानवर छाया में शांति से आराम कर रहे हैं। मगरमच्छ अपने बाड़ों से निकलने का नाम नहीं ले रहे। सभी बढ़ती गर्मी से बचने की कोशिश कर रहे हैं।
पशु पक्षियों को गर्मी से राहत देने के लिए वन विभाग हर जरूरी इंतजाम कर रहा है। वो उनके खान-पान का खास ख्याल रख रहा है। उन्हें तरोताजा रखने के इंतजाम किए जा रहे हैं।
चिड़ियाघर इंचार्ज रामबृक्ष यादव ने कहा कि “गर्मी से बचाव के लिए हम लोग तो जो वाइफ हैं इनका पानी पीने के लिए बताया था, भरते रहते हैं हम लोग हैं और बाकी इन लोगों का जो फल-फूल वगैराह समय-समय से दिया जा रहा है। खरबूजा हो गया काकड़ हो गया और उसके बाद में इनके लिए बचने के लिए इनको वो डाला गया हुआ है, झोपड़ी टाइप का बनाया गया है उनको। जैसे टीन सेट का डाला गया है बचाव के लिए। ये सब सारी व्यवस्था बनाई किया गया है।”
इसके सटह ही उन्होंने कहा कि “चिड़िया और उनके लिए भी यही खीरा, तरबूज, काजू है दिया जाता है ठंडा चीज, गर्मी के लिए, पानी का उनकी भी चेंजिंग होती रहती है। बढ़ती गर्मी के साथ, चिड़ियाघर में जानवरों की देखभाल करने वाले लोगों ने अपनी दिनचर्या में बदलाव किया है। अब उनका दिन पहले शुरू होता है, वह हर जानवार के लिए पानी और छाया का इंतजाम करने की कोशिशों में लगातार जुटे दिखते हैं।
डिप्टी रेंजर अमित कुमार दुबे ने कहा कि “यहां पर स्पेशली जो है काला हिरण और चीतल ये हमारे हिरण की दो प्रजातियां यहां पर हैं और बाकी मगरमच्छ, घड़ियाल, सारस, साही और ढेर सारी छोटी चिड़िया जैसे लव-बर्ड हो गई, कॉकटिल हो गई और लाल मुनिया हो गया और साही है। तो इसमें जो हिरण वाला क्षेत्र है इसमें स्पेशली ये कर रहे हैं कि प्रत्येक दिन का पानी तो पहले डेली दोनो टाइम बदला जा रहा है ताकि हमेशा ताजा पानी उनको मिले और स्पेशली जहां पर जैसे हमारे पास बांस का वाला जो हिस्सा है। जहां पर अक्सर कर के बैठते हैं ये। तो उनमें हम लोग पानी का छिड़काव भी किया। जैसा कि आप अभी देख पा रहे होंगे पानी सब चला हुआ है।”
तेज धूप और गर्मी को देखते हुए चिड़ियाघर प्रशासन कोशिशों में जुटा है कि गर्मी के मौसम में सभी पशु पक्षी चुस्त और दुरुस्त रहें, जानवरों को दिए जाने वाले खाने में बदलाव से लेकर उनके बाड़ों को ठंडा रखने तक सभी जरूरी इंतजाम किए जा रहे हैं।