Mumbai: महाराष्ट्र के मुंबई में बांद्रा और माहिम स्टेशनों के बीच मीठी नदी पर रेलवे के पुल नंबर बीस का ऐतिहासिक महत्व है, पुल को 1888 में बनाया गया था। आज की तारीख में ये इकलौता बचा पुल है, जिसकी अबेटमेंट प्रणाली तत्कालीन नट-बोल्ट तकनीक पर आधारित है।
अबेटमेंट पुल के ढांचे को थामने वाला हिस्सा होता है, इसके जरिये पुल के ऊपर का भार जमीन पर जाता है, अब पश्चिम रेलवे पुल के अबेटमेंट को बदलने की तैयारी कर रहा है।
रेलवे अधिकारियों का कहना है कि ये काम आसान नहीं है। इसे पूरा करने के लिए तमाम सावधानियां बरती जा रही हैं। इस अहम चुनौती से निपटने के लिए अगले महीने दो बार साढ़े नौ घंटे काम किया जाएगा, इस दौरान दादर और अंधेरी के बीच रेल सेवा बंद रहेगी।
पश्चिम रेलवे सीपीआरओ विनीत अभिषेक ने कहा कि “यह इंडियन रेलवे का इकलौता पुल है, जिसका जो अबेटमेंट है, वो स्क्रू पाइल अबेटमेंट है। ये स्क्रू पाइल अबेटमेंट अगर साधारण भाषा में बोला जाए तो पुरानी टेक्नोलॉजी है और बाकी इंडियन रेलवे के सारे ब्रिजेज में चेंज कर दिए गए हैं। उनका फाउंडेशन को हटा दिया गया है। एकमात्र यही एक ब्रिज है, जिसमें ये पुराने तरीके की पुरानी टेक्नोलॉजी है, स्क्रू पाइल फाउंडेशन। उसको हम लोग चेंज कर रहे हैं।”
इसके साथ ही कहा कि “इस पर्टिकुलर ब्रिज का जो काम है, वो ऑलरेडी आप अगर देखेंगे अभी तो ये वर्क चल रहा है। बहुतक कॉम्प्लिकेटेड वर्क है। इसके अगल-बगल से ट्रैक्स हैं। स्लो लाइन है। फास्ट लाइन है। गाड़ियां हर एक मिनट पे, डेढ़ मिनट पे जाती रहती हैं तो उसके विदिन हमारे सारे सेफ्टी प्रोटोकॉल फॉलो करते हुए हमारे जो वहां पे इंजीनियर हैं साइट पे, जो सुपरवाइजर्स हैं, वो एन्श्योर कर रहे हैं कि प्रायोरिटी पे इस काम को किया जाए।”