Delhi blast: उत्तर प्रदेश आतंकवाद निरोधक दस्ते की एक टीम ने सहारनपुर के एक निजी अस्पताल का दौरा कर डॉ. आदिल अहमद के बारे में जानकारी जुटाई, जो दिल्ली विस्फोट के बाद शुरू की गई जांच के दायरे में हैं।
जम्मू कश्मीर के रहने वाले आदिल को पिछले हफ्ते सहारनपुर से गिरफ़्तार किया गया। वह सहारनपुर के निजी फ़ेमस अस्पताल में काम करता था। वी ब्रास अस्पताल के अधिकारियों के मुताबिक, एटीएस टीम ने कर्मचारियों से डॉक्टर आदिल के व्यवहार, काम करने के तरीके और उसके पास आने-जाने वाले लोगों के बारे में पूछताछ की।
अस्पताल चलाने वाले ऑस्कर ग्रुप की उपाध्यक्ष डॉ. ममता ने बताया कि आदिल ने करीब तीन महीने तक अस्पताल में नौकरी की। उन्होंने कहा, “टीम ने उसके व्यवहार, अस्पताल में उसकी गतिविधियों और उससे मिलने वाले लोगों के बारे में सवाल पूछे। हमने सारी जानकारी जांच एजेंसी को दे दी है।”
उन्होंने बताया कि आदिल की नियुक्ति रोहतक कार्यालय के जरिए से हुई थी और उसने वेतन संबंधी समस्याओं की वजह से नौकरी छोड़ी, उसे चार लाख रुपये महीना वेतन और 10,000 रुपये का किराया भत्ता मिलता था।
उनके मुताबिक, नए अस्पताल ने उन्हें 1.5 लाख रुपये ज्यादा देने की पेशकश की। राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग (एनएमसी) ने शुक्रवार शाम को डॉक्टर आदिल और तीन अन्य डॉक्टरों डॉ. मुजफ्फर अहमद, डॉ. मुजम्मिल शकील और डॉ. शाहीन सईद के नाम राष्ट्रीय चिकित्सा रजिस्टर से हटा दिए।
ये कार्रवाई विस्फोट मामले में गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम के तहत आरोप लगने के बाद की गई। जम्मू कश्मीर पुलिस और अन्य एजेंसियों ने सहारनपुर के दो अस्पताल अंबाला रोड स्थित फेमस अस्पताल और दिल्ली रोड स्थित वी ब्रास अस्पताल का दौरा कर आदिल के रोजगार रिकॉर्ड और अन्य दस्तावेज जुटाए थे।
डॉ. ममता ने बताया कि एटीएस टीम करीब एक घंटे तक अस्पताल में रही। उन्होंने कहा, “उन्होंने पूछा कि क्या कोई संदिग्ध गतिविधि दिखी थी, लेकिन हमें कभी कुछ असामान्य नहीं लगा। हमारा संस्थान प्रतिष्ठित है और हम जांच में पूरा सहयोग कर रहे हैं।”
फेमस अस्पताल के सहयोगियों ने भी डॉक्टर आदिल को शांत, विनम्र और पेशेवर बताया। जांच एजेंसियों का आरोप है कि आदिल के जैश-ए-मोहम्मद सहित दूसरे आतंकी संगठनों से संपर्क थे और हो सकता है कि वो उनके लिए रसद मुहैया कराता हो।
आदिल के घर के पास से एक एयर टिकट भी बरामद हुआ है, जिससे पता चलता है कि वो 31 अक्टूबर को श्रीनगर से दिल्ली आया था, यानी 10 नवंबर को लाल किले के पास हुए विस्फोट से कुछ दिन पहले। इस धमाके में 13 लोगों की मौत हुई थी और 20 से ज्यादा लोग घायल हुए थे।
इससे पहले, जम्मू कश्मीर पुलिस आदिल को रिमांड पर लेकर श्रीनगर ले गई थी और अब केंद्रीय और राज्य एजेंसियां उसके नेटवर्क और गतिविधियों की जांच को और बढ़ा रही हैं।