Delhi AQI: देश की राजधानी दिल्ली में खराब वायु गुणवत्ता से यहां रहने वाले लोगों के स्वास्थ्य पर पड़ने वाले गंभीर प्रभाव को लेकर स्वास्थ्य विशेषज्ञों ने चिंता जताई है।
डॉक्टरों का कहना है कि ये जहरीला प्रदूषण न केवल सांस लेने में तकलीफ बल्कि मधुमेह जैसी बीमारियों का भी कारण बनता है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों के मुताबिक वायु प्रदूषण, दूसरे अन्य कारणों के अलावा मधुमेह रोगियों में रक्त शर्करा के स्तर में बढ़ोतरी का कारण बनता है।
ऐसे हालात में मधुमेह से पीड़ित लोगों को सावधानी बरतने की सलाह दी गई है, जैसे कि वे बाहर जाने से बचें और स्वच्छ हवा में सांस लेने के लिए एयर प्यूरीफायर का इस्तेमाल करें।
इसके अलावा डॉक्टरों ने लोगों से शरीर को हाइड्रेटेड रखने, विटामिन सी से भरपूर फल खाने और फाइबर युक्त सब्जियां खाने की सलाह दी है। दिल्ली में रविवार सुबह औसत एक्यूआई 381 दर्ज होने के साथ वायु गुणवत्ता बेहद खराब बनी हुई है।
मधुमेह रोग विशेषज्ञ डॉ. अनिल गोम्बर ने बताया कि “डायबिटीज के पेशेंट को कहूंगा कि वो इंडोर में रहें। अपना एयर प्यूरीफायर यूज करें। आप अंदर की जो एक्सरसाइजिस हैं इंडोर एक्सरसाइजिस किया जाए। उनको ट्रेडमिल करने के लिए होना चाहिए। ट्रेडमिल उनको करना चाहिए और घूमना नहीं चाहिए ज्यादा। जितनी पॉल्यूशन कम से कम हो सके उनके लिए, वो उनके लिए अच्छा सिद्ध होती है। इन लोगों को हम यही कहते हैं कि अगर आपकी शुगर बढ़ रही है एक कॉमन एटमॉस्फेयर में तो इसका मतलब कहीं न कहीं एक ऐसा कारण है जिससे वो बढ़ रही है। वो कारण नॉर्मली ये देखा गया है कि वो पॉल्यूशन है।”
“लोग जो रह रहे हैं। वो रहते हैं पॉल्यूशन में उनको डायबिटीज का खतरा बढ़ जाता है और ये देखा गया है कि 10 से 20 परसेंट तक उनको ज्यादा कॉम्प्लिकेशन होती हैं और जो नॉर्मल लोग हैं, उनको डायबिटीज के 10 से 20 परसेंट चांसेस ज्यादा होते हैं उनको ज्यादा शुगर पाई जाती है। जो पहले से ही शुगर के मरीज होते हैं।”