Amarnath Yatra: अमरनाथ गुफा मंदिर के मार्ग पर श्रद्धालुओं और सामाजिक समूहों की ओर से सामुदायिक रसोई या लंगर लगाए गए हैं, ताकि प्राकृतिक रूप से बने बर्फ के शिवलिंग की पूजा करने और आशीर्वाद लेने के लिए आने वाले तीर्थयात्रियों को मुफ्त भोजन उपलब्ध कराया जा सके।
ये लंगर देश भर से तीर्थयात्रा के लिए आने वाले तीर्थयात्रियों को न केवल मुफ्त भोजन दे रहे हैं बल्कि वहां आराम की सुविधा भी दे रहे हैं।
सामुदायिक रसोई चलाने में शामिल लोगों का कहना है कि ये सेवा पूरी तरह स्वैच्छिक है और तीर्थयात्रियों की सेवा करने के इस अवसर को वो आशीर्वाद की तरह मानते हैं।
ये निःशुल्क सामुदायिक रसोई उन लोगों के लिए भी है, जो अमरनाथ यात्रा के दौरान छोटे-मोटे व्यवसाय से जुड़े होते हैं, जैसे ड्राइवर और टट्टू मालिक।
38 दिनों की अमरनाथ यात्रा तीन जुलाई से शुरू होगी। जम्मू कश्मीर के अनंतनाग जिले में 3800 मीटर से अधिक की ऊंचाई पर स्थित गुफा मंदिर की यात्रा पर लाखों तीर्थयात्रियों के आने की उम्मीद है।
लंगर के आयोजक रमन अग्रवाल ने कहा कि “यहां पर आकर यात्रियों को खाना खिलाकर उनको यात्रा पर भेजकर बेहद सुकून मिलता है कि जो लोग हमारे पास आए हैं, जो यात्रीगण आए हैं, वो बाबा के दर्शन करें और हमेंं आर्शीवाद देकर जाएं।”
“बहुत अच्छी चीज है, वो तो जितने भी लोग भगवान सब बराबर ही हैं। भरोसा सबसे बड़ा है। लोगो को विश्वास है, भरोसा है और भोले बाबा की कृपा है, क्योंकि यात्रा पर लोग आते हैं जिस फेसिलिटी के लिए, जिन पर ज्यादा कृपा है भगवान की, वो लोग ही लंगर लगाते हैं।”