Stress relief: तनाव से राहत, एक स्वस्थ जीवन की राह

Stress relief: आज की तेज़ रफ़्तार और प्रतिस्पर्धी जीवनशैली में तनाव (Stress) और चिंता (Anxiety) आम समस्याएँ बन चुकी हैं। तनाव एक मानसिक और शारीरिक प्रतिक्रिया है जो किसी कठिन परिस्थिति या दबाव के कारण होती है, जबकि चिंता एक मानसिक स्थिति है जिसमें व्यक्ति भविष्य की घटनाओं को लेकर अत्यधिक डर या बेचैनी महसूस करता है। जब ये स्थितियाँ लंबे समय तक बनी रहती हैं, तो यह न केवल मानसिक स्वास्थ्य को प्रभावित करती हैं, बल्कि उच्च रक्तचाप, हृदय रोग, नींद की समस्या और पाचन संबंधी गड़बड़ियों जैसी शारीरिक समस्याओं का कारण भी बनती हैं।

तनाव और चिंता के मुख्य कारणों में कार्यस्थल का दबाव (workplace pressure) , पारिवारिक जिम्मेदारियाँ, आर्थिक समस्या, नींद की कमी और अस्वस्थ जीवनशैली शामिल हैं। विशेषज्ञों के अनुसार, मस्तिष्क में कोर्टिसोल (Cortisol) नामक स्ट्रेस हार्मोन के स्तर में वृद्धि तनाव और चिंता की स्थिति को बढ़ा सकती है। तनाव और चिंता से राहत पाने के लिए कुछ कारगर घरेलू उपाय और जीवनशैली परिवर्तन

योग और ध्यान (Meditation & Yoga): रोजाना 15-30 मिनट योग और ध्यान करने से मस्तिष्क को शांति मिलती है और तनाव का स्तर कम होता है। शोध के अनुसार, ध्यान से एमिगडाला (Amygdala) की सक्रियता कम होती है, जो कि तनाव के लिए ज़िम्मेदार होता है।

गुनगुना पानी या हर्बल चाय का सेवन: कैमोमाइल (Chamomile) या तुलसी की चाय मानसिक शांति प्रदान करती है। इसमें मौजूद प्राकृतिक गुण मस्तिष्क को शांत करते हैं।

अश्वगंधा का सेवन: आयुर्वेद में अश्वगंधा को एक प्रभावशाली एडेप्टोजेन माना जाता है, जो शरीर को तनाव के प्रभाव से लड़ने में मदद करता है।

अच्छी नींद: रोजाना 7-8 घंटे की नींद लेना आवश्यक है। नींद की कमी से मस्तिष्क थका हुआ महसूस करता है और चिंता बढ़ती है।

संगीत थेरेपी: हल्का और शांत संगीत सुनना तनाव को कम करने का एक सरल लेकिन प्रभावी तरीका है।

सकारात्मक सोच और Journaling: अपने विचारों को कागज़ पर लिखना और दिनभर की अच्छी बातों पर ध्यान केंद्रित करना मानसिक स्वास्थ्य को बेहतर बनाता है।

व्यायाम: नियमित रूप से चलना, दौड़ना या हल्की एक्सरसाइज एंडोर्फिन (खुश रहने वाले हार्मोन) को बढ़ाता है, जिससे मूड बेहतर होता है।

विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) और नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ मेंटल हेल्थ (NIMH) के अनुसार, मानसिक स्वास्थ्य का ध्यान रखना उतना ही जरूरी है जितना शारीरिक स्वास्थ्य का। यदि तनाव और चिंता अधिक समय तक बनी रहे या रोजमर्रा के कार्यों को प्रभावित करें, तो मनोचिकित्सक या काउंसलर से संपर्क करना बेहद जरूरी है। तनाव और चिंता से बचाव के लिए ज़रूरी है कि हम अपने जीवन में संतुलन बनाए रखें और खुद को प्राथमिकता दें। समय पर विश्राम, स्वस्थ भोजन, सकारात्मक सोच और थोड़े से आत्म-समर्पण के साथ हम मानसिक शांति की ओर कदम बढ़ा सकते हैं।

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