Ayodhya: उत्तर प्रदेश के अयोध्या में छह दिसंबर को भगवान राम और देवी सीता के विवाह यानी ‘राम विवाह’ की तैयारियां जोरों पर चल रही हैं, रामनगरी के मंदिरों को सजाया गया है। इस मौके पर देश भर से बड़ी संख्या में आने वाले श्रद्धालुओं के स्वागत के लिए इंतजाम किए जा रहे हैं।
संतों के मुताबिक इस मौके पर हिंदू विवाह से जुड़ी सभी रस्में निभाई जाएंगी, अयोध्या में भव्य राम मंदिर के उद्घाटन के बाद ये पहला ‘राम विवाह’ होगा।
इस समारोह में न सिर्फ देश भर से बल्कि नेपाल के जनकपुर से भी बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं के अयोध्या पहुंचने की उम्मीद है। जनकपुर को देवी सीता का जन्मस्थान माना जाता है।
महंत रामशरण दास, पीठाधीश्वर, रंग महल “आज तो पूरी अयोध्या सज रही है और दुल्हन की तरह सज रही है, जैसे उस समय जब अपनी बारात में लोग जाते हैं, सजाते हैं उसी तरह हमारे भगवान के स्वरुप और नर-नारी अयोध्या के भक्त लोग और पूरे भारत ही नहीं पूरे विश्व के लोग ये अलौकिक पहला राम विवाह देखने के लिए अयोध्या में आ रहे हैं, क्योंकि ये बहुत ही अलौकिक और बहुत ही सुंदर छवि का उत्सव होगा। घोड़े से, हाथी से, पैदल लोग सजधज के निकलेंगे और इसी क्रम में हम सभी राम का विवाह उत्सव मनाएंगे।”
आचार्य सत्येंद्र दास, मुख्य पुजारी, श्रीराम जन्मभूमि “अयोध्या के हर मंदिरों में विवाह का उत्सव हो रहा है, बड़े धूमधाम से लोग आए हैं। जो आई हैं बाहर से स्त्रियां और बहुत सी ऐसी हैं जो गाली गा रही हैं और भगवान के भजन के रूप में उसको प्रस्तुति कर रही हैं विवाह को। बहुत अच्छा चल रहा है, पूरी अयोध्या जगमगा रही है। पूरी अयोध्या उत्सव से पूरा भरी है।”