Vijaywada: केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बाढ़ प्रभावित आंध्र प्रदेश और तेलंगाना को 3,448 करोड़ रुपये की तत्काल सहायता देने की शुक्रवार को घोषणा की, आंध्र प्रदेश में बाढ़ की स्थिति की समीक्षा करने के बाद चौहान तेलंगाना में हैं। उन्होंने कहा कि “किसी को भी निराश होने की जरूरत नहीं है। हम तत्काल सहायता उपलब्ध कराने के लिए काम कर रहे हैं।”
उन्होंने कहा कि अभी, राज्य आपदा राहत कोष (एसडीआरएफ) के तहत 3,448 करोड़ रुपये की सहायता मुहैया की जा रही है जिसमें केंद्र सरकार का हिस्सा भी शामिल है। चौहान ने कहा कि तत्काल सहायता मुहैया करने के बाद सरकार अगली फसल के लिए किसानों को उवर्रक और बीज उपलब्ध कराने के बारे में विचार करेगी।
केंद्रीय मंत्री ने कृषक समुदाय को यह भरोसा भी दिलाया कि केंद्र फसल नुकसान के आकलन के बाद उपयुक्त मुआवजा मुहैया करेगा। उन्होंने कहा, ‘‘हम बैंकों से कहेंगे कि वे संकट के समय किसानों से ऋण की वसूली ना करें।’ एक आधिकारिक बयान के अनुसार, चौहान ने तेलंगाना के बाढ़ प्रभावित मीनावलु, पेड्डागोपावरम, मन्नूर और कट्टेलरु का हवाई सर्वेक्षण किया। वे खम्मम में लोगों से भी मिले और उनकी समस्याओं पर चर्चा की।
खम्मम जिले में बाढ़ प्रभावित किसानों से बात करते हुए केंद्रीय मंत्री ने कहा कि राज्य में मौजूदा आपदा बड़ी है, लेकिन पूर्ववर्ती (बीआरएस) सरकार भी किसी ‘‘आपदा’’ से कम नहीं थी क्योंकि उसने ऐसी स्थिति पैदा कर दी जिसका समाधान ढूंढना मुश्किल हो गया है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार के साथ मिलकर केंद्र किसानों के लिए समाधान निकालेगा। फसल को हुई क्षति के मद्देनजर संक्षिप्त अवधि की और दीर्घकालिक योजनाएं तैयार की जानी चाहिए।
राज्य में बारिश व बाढ़ के कारण हुए नुकसान को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के चिंतित होने का जिक्र करते हुए चौहान ने कहा कि उन्होंने उन्हें भेजा है और केंद्रीय राज्य मंत्री (गृह) बंडी संजय कुमार भी उनके साथ आए हैं। चौहान ने कहा कि प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना को तेलंगाना में लागू नहीं किया गया। इसके लागू होने से उन किसानों को मदद मिलती जो फसल को हुए भारी नुकसान के कारण प्रभावित हुए हैं, उन्होंने कहा कि राज्य को केंद्रीय योजना से कोई लाभ नहीं मिल पा रहा है और इसका समाधान निकाला जाएगा।
शिवराज सिंह चौहान, केंद्रीय मंत्री “किसान की फसलें पूरी तरह से नष्ट हो गई हैं। आठ-आठ, नौ-नौ दिन से धान डूबी हुई है। उसकी जड़े सड़ गई है और जो पौधा था वो पूरी तरह से डैमेज हो गया है और केवल धान ही नहीं केला, हल्दी, बागवानी की और सब्जियों की सारी फसलें और एक और फसल है जो बहुत महंगी लगती है वो सबसे के सब पूरी तरह से नष्ट हो गए हैं।”
“नुकसान हुआ है लेकिन राज्य सरकार बहुत सक्षमता और संवेदनशीलता के साथ मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू के नेतृत्व में काम कर रही है और केंद्र सरकार उनको भरपूर सहयोग करेगी। अभी एसडीआरएफ के 3448 करोड रुपया जिसमें केंद्र का हिस्सा भी है वो यहां है तो तात्कालिक सहायता देने का काम। लेकिन तात्कालिक सहायता के बाद अगली फसल के लिए किसान को कैसे खाद, बीज मिले उसके बारे में सरकार सोचेगी।”